फिर आईएएस मर्यादा भूले, युवक को DM ने पीटा मोबाइल तोड़ा, सिपाहियों से पिटवाया!

पिछले दिनों त्रिपुरा में अगरतला के डीएम के द्वारा बारातियों से बदतमीजी किए जाने और मारपीट किए जाने का वीडियो वायरल हुआ था जिसके बाद राज्य सरकार ने उनके विरुद्ध कार्रवाई की थी अब एक और वीडियो वायरल हुआ है जिसमें कांग्रेस शासित छत्तीसगढ़ के सूरजपुर जनपद के डीएम रणवीर शर्मा लॉकडाउन में अपने बीमार माता पिता के लिए दवा लेने और मेडिकल जांच के लिए निकले एक युवक को सरेआम बेरहमी से पीट रहे हैं।

दोनों दृश्यों में IAS होने के घमंड में चूर अधिकारियों का दुर्व्यवहार साफ दिख रहा है कहीं शैलेश यादव लोगों को पीटते हैं तो कहीं रणवीर शर्मा अपने पद की ताकत में सारे नियम कानून और मर्यादा भूल जाते हैं । दृश्यों में साफ दिख रहा है कि जब वह अपने मोबाइल से कुछ दिखाने की कोशिश करता है तो डीएम रणबीर शर्मा उसके मोबाइल को जमीन पर पटक कर तोड़ देते हैं और अपने साथ मौजूद सुरक्षाकर्मियों को भी युवक को पीटने का आदेश देते हैं।

ऐसी गैर कानूनी कार्यवाही एक आईएएस अफसर के द्वारा किए जाने का वीडियो वायरल होने पर जमकर उनकी आलोचना हो रही है वीडियो वीडियो वायरल होने की वजह से आईएएस अफसर की बदतमीजी जब लोगों के सामने आ गई तो उन्होंने खेद प्रकट करके खुद को निर्दोष बताने की कोशिश की है।

सूरजपुर जिले में मास्क लगाए युवक को पुलिस ने जब रोका तब वह कलेक्टर को एक कागज और मोबाइल फोन पर कुछ दिखाने की कोशिश कर रहा था लेकिन इस दौरान कलेक्टर ने उसका फोन लिया और उसे जमीन पर फेंक दिया और युवक को जोरदार थप्पड़ जड़ दिया इतने से भी कलेक्टर साहब का मन नहीं भरा तो अपने साथ मौजूद सुरक्षाकर्मियों को कहा इस को मारो , इसके बाद सुरक्षाकर्मी उस युवक को लाठियों से पीटने लगे।

घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद कलेक्टर ने अपने व्यवहार के लिए माफी मांगी है।

सूरजपुर जिले के पुलिस अधिकारियों ने बताया कि युवक की पहचान अमन मित्तल (23) के रूप में हुई है। उसके खिलाफ लॉकडाउन के कथित उल्लंघन के लिए मामला भी दर्ज कर दिया गया है।
आखिरकार जब जिले के डीएम ने खुद एक युवक हो पीटा है तो डीएम साहब की मनमानी को जायज दिखाने के लिए कानूनी कार्रवाई भी तो जरुरी थी इसलिए प्रशासन ने युवक पर मुकदमा भी दर्ज कर दिया।

वीडियो में आप देख सकते हैं कि मास्क लगाए एक युवक को पुलिस ने जब रोका तब वह कलेक्टर को एक कागज और मोबाइल फोन पर कुछ दिखाने की कोशिश कर रहा था। इस दौरान कलेक्टर ने उसका फोन लिया और उसे जमीन पर फेंक दिया। 
वीडियो में कलेक्टर द्वारा युवक की पिटाई का आदेश देते हुए सुना जा सकता है। वीडियो के वायरल होने के बाद कलेक्टर ने घटना के लिए माफी मांग ली है सूरजपुर जिले के कलेक्टर रणबीर शर्मा ने अपने बयान में कहा, आज सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल है जिसमें मुझे एक आदमी को थप्पड़ मारते हुए दिखाया गया है जो लॉकडाउन के दौरान बाहर था। आज के व्यवहार के लिए मैं दिल से माफी मांगता हूं। उस व्यक्ति का अनादर करने का मेरा कोई इरादा नहीं था।  

कलेक्टर ने बयान में कहा, इस महामारी की स्थिति में सूरजपुर के सभी सरकारी कर्मचारी इस समस्या से निपटने के लिए कड़ी मेहनत कर रहे हैं।  
कलेक्टर शर्मा ने कहा है कि वह और उनकी मां भी कोरोना वायरस से संक्रमित थे। उन्होंने कहा है कि वह अब ठीक हो गए हैं, लेकिन मां अब भी संक्रमित है। उन्होंने बताया कि घर पर ही उनकी मां का इलाज चल रहा है। उन्होंने कहा है कि वह जिले के सभी निवासियों से अपील करते हैं कि नियमों का पालन करें।

कलेक्टर साहब की सारी बातें ठीक है लेकिन किसी साधारण नागरिक का भी कोई सम्मान होता है क्या आम लोग सरकारी अधिकारियों कर्मचारियों के हाथों इसी तरह बेइज्जत होने के लिए बने हैं?

आपको जनता के पैसों से भारी भरकम वेतन सुख सुविधाएं दी जा रही हैं , जनता की सुविधाओं के लिए ही आपको ढेर सारी ताकत दी गई है और लोकसेवक बनाया गया है संविधान ने आप से यह अपेक्षा नहीं की है कि आप लोगों को सरेआम बेइज्जत करें वीडियो में युवक भगवान की कसम खाते हुए आपसे निवेदन कर रहा है और आप उसे पिटवा रहे हैं। यह दुर्भाग्य है कि आज देश में ताकत हासिल करने के बाद बहुत से अधिकारी कर्मचारी और नेता लोक सेवक ना रहकर शासक मानसिकता से पीड़ित हो जाते हैं और उस जनता का ही सम्मान नहीं करते जिस की सेवा के लिए उन्हें ताकत दी जाती है।

द इंडियन ओपिनियन के लिए दीपक मिश्रा की रिपोर्ट

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