मंगलवार की रात लखनऊ के शहीद पथ स्थित पार्थ अभ्यांतर रेवती अपार्टमेंट के चौथी मंजिल पर स्थित फ्लैट नंबर 402 में अचानक भीषण आग लग गई लपटें और धुआं उठते देख पड़ोसियों ने परिवार को जगाने के बाद किसी तरह सुरक्षित बाहर निकाला।
कई घंटों की मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया जा सका। वही हैरानी की बात यह रही कि पीड़ित ने बताया की पार्थ बिल्डर के इस अपार्टमेंट में लगे हुए फायर अलार्म और वाटर स्प्रिंकलर फेल साबित हुए है।
आवंटियों के अनुसार काफी देर तक काला धुआं और लपटें फैलने के बावजूद न तो फायर अलार्म बजा और ना ही वाटर स्प्रिंकलर चला जबकि बिल्डर ने इन सारी सुविधाओं की एवज में उनसे पैसे वसूल किए हैं।
वही लोगों ने बिल्डर द्वारा पंजीकरण पुस्तिका में उलिक्खित सुविधाएँ नहीं उपलब्ध कराने के आरोप के साथ यह भी आरोप लगाया कि लखनऊ विकास प्राधिकरण के अधिकारियों की मिलीभगत से अग्नि सुरक्षा के उपकरणों के विधिवत जांच के बगैर ही एलडीए के अधिकारियों ने बिल्डर को कंपलीशन सर्टिफिकेट दे दिया और बिल्डर ने ग्राहकों से कीमत लेकर उन्हें खतरनाक फ्लैट में कब्ज़ा भी दे दिया।
निवासियों ने यह भी बताया कि वह अपार्टमेंट की सुरक्षा के लिए बिल्डर से जुलाई माह से ही बात कर रहे हैं परंतु बिल्डर उनकी बातों को ध्यान से नहीं सुन रहे।
इस घटना के बाद स्मोक डिटेकटर फायर अलार्म और वाटर स्प्रिंकलर सभी फेल साबित हुए हैं, जिससे यह स्पष्ट हुआ है की 24 मंजिल के इन टॉवर्स में अग्नि सुरक्षा नियमों की पूरे तौर पर अनदेखी की गई है और इस हालत में ग्राहकों को कब्जा देना उनकी जान-माल की सुरक्षा से खिलवाड़ ही कहा जाएगा।
इस लापरवाही के लिए पार्थ बिल्डर और लखनऊ विकास प्राधिकरण दोनों ही जिम्मेदार है पीड़ितों ने इस मामले में लखनऊ पुलिस से भी शिकायत की है।
इस संबंध में जब संबंधित कम्पनी के अधिकारियों का पक्ष जानने के लिए महाप्रबंधक श्री विक्रम शुक्ला से उनके मोबाइल नम्बर 9839610777 पर बात करने की कोशिश की गई तो उनका नंबर लगातार स्विच ऑफ़ आया ।
रिपोर्ट – विकास चंद्र अग्रवाल