प्रवासी मजदूरों गरीबों की मदद के लिए सभी जिला कलेक्टर नोडल अफसर नियुक्त करें, केंद्र के निर्देश!

रिपोर्ट – आराधना शुक्ला

कोरोना वायरस के मद्देनजर पूरे देश में लॉक डाउन लागू है। जिसके चलते प्रवासी मजदूरों को संकट का सामना करना पड़ रहा है। इस को ध्यान में रखते हुए गृह मंत्रालय की तरफ से सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को पत्र  के माध्यम से दिशा निर्देश जारी किए गए हैं। इसमें कहा गया है कि प्रवासी मजदूरों पर विशेष ध्यान दिया जाए।


गुरुवार को जारी इस पत्र में राज्यों से अनुरोध किया गया है कि वह सभी जिला कलेक्टरों को मौजूदा स्थिति की तुरंत समीक्षा करने का निर्देश दें। वे प्रवासी मजदूरों से संबंधित मुद्दों में समन्वय और निगरानी के लिए नोडल अधिकारी नियुक्त कर सकते हैं, यदि पहले से ही अधिकारी नियुक्त हैं तो इसकी आवश्यकता नहीं है।


केंद्र सरकार की तरफ से पूरे देश में कोरोना से निपटने के लिए लॉक डाउन किया गया है। इस दौरान मजदूरों को कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है। इनकी समस्याओं को देखते हुए कैबिनेट सचिव ने प्रवासी मजदूरों की सुरक्षा, आश्रय और खाद्य सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए गृह  मंत्रालय की तरफ से सभी राज्य और केंद्र शासित प्रदेशों को विस्तृत दिशा-निर्देशों का प्रभाव कारी कार्यान्वयन सुनिश्चित करने के लिए पत्र लिखा। इसमें कहा गया है कि सभी प्रवासी मजदूरों एवं फंसे हुए व्यक्तियों की गणना करके उनके आश्रय एवं भोजन की व्यवस्था की जानी चाहिए।


गृह मंत्रालय की तरफ से लिखे पत्र में कहा गया है कि प्रत्येक राहत शिविर का प्रभारी एक वरिष्ठ अधिकारी होना चाहिए। इसके अलावा वह लॉक डाउन के दौरान सभी फंसे हुए व्यक्तियों और प्रवासी मजदूरों को भोजन उपलब्ध करवाने के लिए सिविल सोसायटी संगठनों और मिड डे मील नेटवर्क का भी सहयोग ले सकते हैं।

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