रिपोर्ट- मनीष पाल,
पीड़ित महिलाओं को न्याय दिलाने के लिए चाहे जितने कड़े कानून बनाये गए हो लेकिन लचर प्रशासनिक के चलते अभी भी पीड़ित महिलाओं को न्याय नही मिल पा रहा है।ताजा मामला फतेहपुर जिले के असोथर थाना क्षेत्र का है जहाँ पंद्रह साल की एक किशोरी ने गांव के ही दो युवकों पर अगवा कर सामूहिक दुष्कर्म किये जाने के आरोप लगाया है। घटना के बाद से पीड़िता अपने परिजनों के साथ लगातार थाने के चक्कर लगा रही है लेकिन उसकी सुनने वाला कोई नही है असोथर थाना क्षेत्र के एक गांव के रहने वाले एक दलित व्यक्ति ने पुलिस को दिए गए प्रार्थना पत्र में आरोप लगाया है कि बीती 6 तारीख को उसकी पंद्रह वर्षीय पुत्री शौच के लिए जब खेतों की तरफ गई थी तभी घात लगाए बैठे गांव के ही दो युवकों ने उसको अगवा कर लिया और खेत मे ही बनी एक कोठरी में लेजाकर उसके साथ बारी बारी से दुष्कर्म किया और कहा कि अगर इस बात की किसी को जानकारी दी तो जान से मार देंगे। दरिंदों के चंगुल से छूटने के बाद दलित किशोरी के घर पहुँचने के बाद किशोरी ने जब आपबीती परिजनों को बताई तो पूरा परिवार अवाक रह गया। मामले में एफआईआर दर्ज कराने के लिए परिजन पीड़ित किशोरी को लेकर थाने पहुँचे लेकिन वहाँ उसकी एक नही सुनी गई और किशोरी और उसके परिजनों को चलता कर दिया गया। पीड़ित परिजनों का कहना है कि इस घटना के बाद से ही लगातार जिले के पुलिस अधिकारियों के चक्कर लगा रहे है लेकिन दोषियों के खिलाफ कार्यवाई करने के बजाय पुलिस ने दबंग युवको के खिलाफ मुकदमा तक नही दर्ज किया पीड़िता की माँ का कहना है कि अगर उसकी बेटी को न्याय नही मिला तो वह लखनऊ जाकर डीजीपी के दफ्तर में न्याय की फरियाद करेगी। इस मामले में क्षेत्राधिकारी थरियांव रामप्रकाश का कहना है कि यह मामला अभी तक उनके संज्ञान में नही है अगर ऐसा कोई मामला सामने आता है तो दोषियों के खिलाफ कड़ी से कड़ी कार्यवाई की जाएगी।