कर्नाटक की राजधानी बेंगलुरु के ईदगाह मैदान में गणेश पूजा की अनुमति देने पर बड़ा विवाद खड़ा हो गया है। बेंगलुरु के एक मैदान में गणेश चतुर्थी पूजा की अनुमति के लिए हाई कोर्ट के आदेश के खिलाफ कर्नाटक वक्फ बोर्ड सुप्रीम कोर्ट पहुंच गया है।
वक्फ बोर्ड ने कहा है कि मैदान उसकी संपत्ति है। वहां 1964 से ईद की नमाज़ हो रही है. वहां पूजा से सांप्रदायिक तनाव हो सकता है। मामले को संभालने के लिए मैदान के चारों ओर चप्पे-चप्पे पर भारी संख्या में पुलिस की तैनाती की गई है। 1600 पुलिस कर्मियों को तैनात किया गया है। इसके अलावा तीन DCP, 21 ACP, लगभग 49 निरीक्षक, 130 PSI और रैपिड एक्शन फोर्स (RAF) को भी शांति और सद्भाव सुनिश्चित करने के लिए तैनात किया गया है।
वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल ने तत्काल सुनवाई के लिए मामले का उल्लेख किया था। उन्होंने कहा कि हाईकोर्ट के आदेश से अनावश्यक तनाव पैदा होगा। 26 अगस्त को कर्नाटक हाई कोर्ट की डिवीजन बेंच ने राज्य सरकार से यह कहा था कि वह चमाराजपेट के ईदगाह मैदान में गणेश चतुर्थी पूजा की अनुमति मांग रहे लोगों के आवेदन पर नियमों के मुताबिक विचार करे।
ईदगाह मैदान के पास की गई सुरक्षा व्यवस्था पर डीसीपी लक्ष्मण बी. निम्बार्गी (पश्चिम मंडल) ने कहा कि पिछले 15 दिनों से बदमाशों पर कार्रवाई की जा रही है। सिब्बल ने कहा कि 31 अगस्त को गणेश चतुर्थी की पूजा है, उससे पहले मामले को सुना जाना जरूरी है।
ब्यूरो रिपोर्ट ‘द इंडियन ओपिनियन’