अपने एक साल के कार्यकाल में खुद की और डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य की सीट गंवा बैठे यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं. कैराना लोकसभा सीट पर हुए उपचुनावों ने उनके खाते में एक और हार लिख दी है, वहीं बीजेपी का गढ़ माने जाने वाले नूरपुर विधानसभा की सीट भी योगी नहीं बचा पा रहे हैं. पहले से ही सरकार और पार्टी के अंदर घिरते जा रहे योगी आदित्यनाथ के लिए ये नए नतीजे मुसीबत खड़ी करने वाले हैं.
उत्तर प्रदेश के बिजनौर में नूरपुर विधानसभा सीट पर हुए उपचुनाव में गठबंधन की तरफ से समाजवादी पार्टी के प्रत्याशी नईमुल हसन ने जीत हासिल कर ली है. नजदीकी मुकाबले में नईमुल हसन ने बीजेपी की प्रत्याशी अवनी सिंह को 6271 वोट से मात दी. बता दें ये उपचुनाव बीजेपी विधायक लोकेंद्र सिंह के आकस्मिक देहांत के कारण हुए. चुनाव में बीजेपी ने लोकेंद्र सिंह की पत्नी अवनी सिंह को प्रत्याशी बनाया था. लोकेंद्र सिंह ने 2017 में नईमुल हसन के ही हराकर विधानसभा का सफर पूरा किया था. 2017 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी के लोकेंद्र सिंह को 79 हजार वोट प्राप्त हुये थे, जबकि एसपी के नईमुल हसन को 66 हजार 436 वोट मिले थे.
लेकिन इस बार उपचुनाव में लोकेंद्र सिंह की पत्नी अवनी सिंह बेहतर प्रदर्शन नहीं कर सकीं. मतगणना के दौरान शुरू से ही नईमुल हसन ने बढ़त बनाए रखी थी. हालांकि कई बार ऐसा लगा कि अवनी सिंह आगे निकल जाएंगीं, लेकिन नईमुल हसन ने अपनी बढ़त बरकरार रखी. 25 राउंड की मतगणना के बाद सपा प्रत्याशी को 94,476 मत मिले, वहीं बीजेपी प्रत्याशी अवनी सिंह 88,205 वोट ही जुटा सकीं.
उधर लखनऊ में समावजादी पार्टी दफ्तर में जोश का माहौल देखने को मिल रहा है. यहां सपा कार्यकर्ता गठबंधन के समर्थन में जमकर नारेबाजी कर रहे हैं. माना जा रहा है कि नूरपुर के बाद कैराना लोकसभा उपचुनाव के परिणाम आते ही अखिलेश यादव सपा कार्यकर्ताओं को संबोधित कर सकते हैं.
कैराना-नूरपुर ने दिया दूसरा बड़ा झटका
कैराना में बीजेपी सांसद हुकुम सिंह और नूरपुर में बीजेपी विधायक लोकेंद्र सिंह चौहान के निधन के चलते ये सीटें खाली हुईं. बीजेपी ने सहानुभूति वोट के एक्स फैक्टर का फायदा उठाने के लिए यहां से क्रमशः हुकुम सिंह की बेटी मृगांका सिंह और लोकेंद्र सिंह चौहान की पत्नी अवनि सिंह को मैदान में उतारा लेकिन विपक्षी एकजुटता ने उसके मंसूबों पर पानी फेर दिया. सपा-बसपा-कांग्रेस-आरएलडी के एक साथ आ जाने से कैराना सीट जहां आरएलडी के खाते में जाती दिख रही है, वहीं नूरपुर पर सपा का कब्जा हो रहा है.
अखिलेश यादव के खास एमएलसी राजेश यादव राजू कि मेहनत हुई सफल
जानकारी के मुताबिक बाराबंकी के विधान परिषद सदस्य राजेश यादव राजू एक माह पहले से कैराना उपचुनाव में लगे हुए थे इसी दौरान उनकी पत्नी को बेटी हुई जिसको देखने के लिए वह समय से नहीं पहुंच सके उन्होंने पार्टी के प्रति अपने फर्ज को शीर्ष प्राथमिकता पर रखा.